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सावन : पांडवों के मिट गए थे जहां सारे पाप, पढ़िए केदारनाथ मंदिर की कथा Sawan: Where all the sins of Pandavas were eradicated, read the story of Kedarnath temple

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सावन : पांडवों के मिट गए थे जहां सारे पाप, पढ़िए केदारनाथ मंदिर की कथा बद्री नौटियालदेश के 12 ज्योर्तिलिंगों में हिमालय पर स्थित ग्यारहवां ज्योर्तिलिंग भगवान केदारनाथ धाम ही एक ऐसा अद्भुत मंदिर है जहां महज छह महीने ही पूजा होती है, अन्य जगहों पर साल भर पूजा हो रही है. सावन की शिवरात्रि पर तो यहां का महत्व और भी बढ़ जाता है. मान्यता है कि इस विशेष मौके पर जो भी भक्त बाबा के स्वयंभू लिंग का जलाभिषेक कर बेल पत्र और ब्रह्मकमल अर्पित करते हैं उन्हें मनवांछित फल की प्राप्ति होती है. पौराणिक कथाओं के अनुसार इस ज्योतिर्लिंग के प्राचीन मंदिर का निर्माण महाभारत का युद्ध समाप्त होने के बाद कराया था. पुराणों के अनुसार केदार महिष अर्थात भैंसे का पिछला भाग है. इस मंदिर की कथा बहुत ही रोचक है. आइए जानते हैं इस कथा के बारे में- भगवान शिव का आवास केदारनाथ को भगवान शिव का आवास माना जाता है. इसका वर्णन 'स्कंद पुराण' में भी आता है. भगवान शिव माता पार्वती से एक प्रश्न के उत्तर में कहते हैं कि यह क्षेत्र उतना ही प्राचीन है, जितना कि मैं हूं. भगवान शिव आगे बताते हैं कि इस स्थान पर सृष्टि की रचना के ल